शनिवार, 23 मई 2009

खबरों से बेदख़ल मुन्ना भाई

इस बार नया ट्रेंड नजर आया है, चुनाव प्रचार के आखिरी हफ्ते में बसपा प्रत्याशी मुन्ना सिंह चौहान एकाएक तीन अखबारों से लगभग बेदखल कर दिए गए। जब इसकी दरियाफ्त की गई तो पता चला कि एक सत्तारूढ़ नेता ने इसकी कीमत अदा की थी। यानी अब ऐसा समय आ चुका है जब आप पैसा देकर अपने प्रतिद्वंद्वी की खबरे ब्लैकआऊट करा सकते हैं। जानते हैं कि पिछले विधानसभा चुनाव से चुनाव समीक्षा क्यों बंद की गई? जब सबसे वसूली करेंगे तो भाई चुनावी सच कैसे छापेंगे? धनदाता, अन्नदाता क्या खबर बहादुरों की खटिया खड़ी नहीं कर देगा?

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